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RBI का नया खुलासा: बैंकों में लावारिस पड़े हैं 62,314 करोड़ रुपये, जानें कैसे करें क्लेम

भारतीय रिजर्व बैंक ने हाल ही में खुलासा किया है कि बैंकों में बिना क्लेम के 62,314 करोड़ रुपये पड़े हैं। यह राशि उन खातों में है जिनमें पिछले 10 वर्षों से कोई लेन-देन नहीं हुआ है। सरकारी बैंकों में इसका बड़ा हिस्सा है, विशेषकर स्टेट बैंक ऑफ इंडिया के पास। जानें कि आप अपने पुराने खातों से यह पैसा कैसे वापस प्राप्त कर सकते हैं और सरकार के जागरूकता अभियान के बारे में भी जानकारी प्राप्त करें।
 

अनक्लेम्ड डिपॉजिट का बड़ा आंकड़ा


भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने हाल ही में जानकारी दी है कि देश के बैंकों में बिना क्लेम किए गए डिपॉजिट की कुल राशि 2024 के अंत तक ₹62,314 करोड़ तक पहुंच गई है। यह धनराशि उन बैंक खातों में जमा है जिनमें पिछले 10 वर्षों से कोई लेन-देन नहीं हुआ है, यानी न तो पैसे निकाले गए हैं, न ही जमा किए गए हैं।


यह जानकर हैरानी होती है कि इस राशि का अधिकांश हिस्सा सरकारी बैंकों में है। कुल अनक्लेम्ड राशि में से लगभग ₹50,900 करोड़ केवल सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों में जमा है।


SBI के पास सबसे अधिक अनक्लेम्ड राशि

आरबीआई की वार्षिक रिपोर्ट के अनुसार, स्टेट बैंक ऑफ इंडिया (SBI) इस सूची में सबसे ऊपर है। SBI के पास अकेले लगभग ₹16,968 करोड़ का ऐसा धन है, जिस पर अब तक किसी ने दावा नहीं किया है। इसके बाद अन्य प्रमुख सरकारी बैंक आते हैं।


पिछले कुछ वर्षों के आंकड़ों पर नजर डालें तो यह राशि तेजी से बढ़ी है। 2021 में बिना दावे वाले डिपॉजिट लगभग ₹31,000 करोड़ थे, जो अब तीन वर्षों में दोगुने से अधिक हो गए हैं। यह दर्शाता है कि कई लोग अपने पुराने बैंक खातों को भूल चुके हैं।


बिना क्लेम वाला पैसा कैसे प्राप्त करें?

यदि आपके या आपके परिवार के किसी सदस्य के नाम पर पुराना बैंक खाता है, तो पैसा वापस पाना कठिन नहीं है। खाताधारक, जॉइंट अकाउंट होल्डर, नॉमिनी या कानूनी वारिस कोई भी दावा कर सकता है। इसके लिए संबंधित बैंक की शाखा में जाना होगा और आवश्यक KYC दस्तावेज जैसे आधार कार्ड, पैन कार्ड, पहचान और पते का प्रमाण प्रस्तुत करना होगा। यदि खाताधारक खाता फिर से चालू रखना चाहता है, तो बैंक औपचारिकताएँ पूरी करने के बाद खाता फिर से सक्रिय कर देगा। यदि खाताधारक खाता बंद कर पैसे निकालना चाहता है, तो बैंक उसी अनुरोध के अनुसार क्लेम प्रक्रिया करता है और राशि वापस कर दी जाती है।


सरकार का जागरूकता अभियान

लोगों को उनके पैसे के बारे में जानकारी देने के लिए सरकार ने 'आपका पैसा, आपका अधिकार' नाम से एक जागरूकता अभियान शुरू किया है। इसका उद्देश्य यह है कि लोग अपने पुराने या भूले-बिसरे बैंक खातों की जांच करें और अपना हक का पैसा वापस लें।


आरबीआई के नियमों के अनुसार, यदि किसी बैंक खाते में 10 वर्षों तक कोई गतिविधि नहीं होती है और पैसा बिना क्लेम के पड़ा रहता है, तो उस राशि को आरबीआई के 'डिपॉजिटर एजुकेशन एंड अवेयरनेस (DEA) फंड' में ट्रांसफर कर दिया जाता है। हालांकि, पैसा DEA फंड में चला जाने के बाद भी खाताधारक या उसके वारिस का उस पर पूरा हक बना रहता है।