कोलेस्ट्रॉल और हार्ट स्वास्थ्य के लिए आवश्यक बदलाव
कोलेस्ट्रॉल और हार्ट समस्याओं का बढ़ता खतरा
आजकल, कोलेस्ट्रॉल और हृदय संबंधी समस्याएं वैश्विक स्तर पर चिंता का विषय बन गई हैं। ये समस्याएं मुख्यतः हमारी जीवनशैली से जुड़ी हैं। यदि हमारी दिनचर्या सही नहीं है, तो ये बीमारियाँ जल्दी ही हमें प्रभावित कर सकती हैं।
अपने खानपान और दिनचर्या में सुधार करके, आप इन समस्याओं से बच सकते हैं। विशेषज्ञों का मानना है कि कोलेस्ट्रॉल और हृदय संबंधी समस्याओं को नियंत्रित करने के लिए तीन महत्वपूर्ण बदलाव करने चाहिए। आइए जानते हैं इस पर विशेषज्ञों की राय।
विशेषज्ञों की सलाह
इंग्लैंड के नफील्ड हेल्थ ब्राइटन हॉस्पिटल के कंसल्टेंट कार्डियोलॉजिस्ट, डॉ. क्रिस्टोफर ब्रोयड के अनुसार, जीवनशैली में सही आदतों का पालन न करने से कोलेस्ट्रॉल संबंधी बीमारियों का खतरा बढ़ता है, जिसमें हृदय रोग सबसे प्रमुख है। इसके पीछे के कारणों में वजन बढ़ना, शारीरिक गतिविधियों की कमी और नींद की कमी शामिल हैं। उन्होंने तीन महत्वपूर्ण बातों का उल्लेख किया है, जिनका पालन करके इन बीमारियों से बचा जा सकता है।
तीन आवश्यक बदलाव
1. नींद को प्राथमिकता दें: डॉ. ब्रोयड बताते हैं कि कोलेस्ट्रॉल एक प्रकार का हानिकारक वसा है, जो धमनियों में जमा होता है। पर्याप्त नींद न लेना इस समस्या का मुख्य कारण है। 7 से 8 घंटे की नींद न लेने से दिल पर दबाव पड़ता है, जिससे रक्तचाप असंतुलित हो सकता है। विशेषज्ञों का सुझाव है कि आपको जल्दी सोने और जल्दी उठने की आदत डालनी चाहिए।
2. सूरज की रोशनी: धूप से दूर रहना शरीर में विटामिन-डी की कमी का कारण बनता है, जो हृदय स्वास्थ्य पर नकारात्मक प्रभाव डालता है। विटामिन-डी की कमी से सूजन भी हो सकती है। हृदय रोगियों को सुबह की धूप में कुछ समय बिताना आवश्यक है ताकि हृदय स्वास्थ्य में सुधार हो सके।
3. तनाव प्रबंधन: डॉ. ब्रोयड के अनुसार, अधिक तनाव भी हृदय और कोलेस्ट्रॉल संबंधी बीमारियों का खतरा बढ़ाता है। आजकल, पेशेवर जीवन की व्यस्तता के कारण तनाव आम हो गया है। तनाव को नियंत्रित करने के लिए, शराब और धूम्रपान से बचें और शारीरिक गतिविधियों और ध्यान का सहारा लें।
क्या न करें?
- पूरे दिन एक ही स्थान पर बैठना उचित नहीं है।
- देर रात तक जागना स्वास्थ्य के लिए हानिकारक है।
- अकेले रहना भी ठीक नहीं है, इसलिए सामाजिक जीवन में सक्रिय रहें।