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प्रधानमंत्री मोदी ने जनजातीय गौरव दिवस पर भगवान बिरसा मुंडा को दी श्रद्धांजलि

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने नर्मदा जिले के डेडियापाड़ा में जनजातीय गौरव दिवस पर भगवान बिरसा मुंडा की 150वीं जयंती मनाई। उन्होंने जनजातीय समुदाय के योगदान की सराहना करते हुए विकास के लिए कई योजनाओं की घोषणा की। 2025 को जनजातीय गौरव वर्ष के रूप में मनाने की योजना है, जिसमें 9700 करोड़ रुपये के विकास कार्यों का शुभारंभ किया गया। मोदी ने शिक्षा, स्वास्थ्य और रोजगार के क्षेत्र में सुधार के लिए सरकार की प्रतिबद्धता को भी रेखांकित किया।
 

जनजातीय गौरव दिवस का भव्य समारोह

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शनिवार को नर्मदा जिले के डेडियापाड़ा में जनजातीय गौरव दिवस के अवसर पर भगवान बिरसा मुंडा की 150वीं जयंती मनाई। उन्होंने कहा कि जनजातीय समुदाय ने हमेशा देश के सम्मान और स्वाभिमान की रक्षा में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। आजादी की लड़ाई और जल, जंगल, जमीन के अधिकारों की सुरक्षा के लिए भगवान बिरसा मुंडा का योगदान अद्वितीय है।


2025 में मनाया जाएगा जनजातीय गौरव वर्ष

भगवान बिरसा मुंडा की 150वीं जयंती को विशेष बनाने के लिए 2025 को जनजातीय गौरव वर्ष के रूप में मनाने की योजना है। प्रधानमंत्री ने इस अवसर पर 9700 करोड़ रुपये से अधिक के विकास कार्यों की घोषणा की और गुजरात के जनजातीय समुदाय के विकास के लिए 2000 करोड़ रुपये की जनजातीय कल्याण योजना का शुभारंभ किया।


जनजातीय समुदाय के विकास के लिए योजनाएं

प्रधानमंत्री ने जनजातीय समुदाय को संबोधित करते हुए कहा कि हमें सबका साथ और सबका विकास के सिद्धांत को मजबूत करना चाहिए। उन्होंने अतीत में जनजातीय समुदाय के प्रति उपेक्षा की ओर ध्यान दिलाया और कहा कि उनकी सरकार ने शिक्षा, स्वास्थ्य, रोजगार और आर्थिक विकास के लिए कई योजनाएं लागू की हैं।


स्वास्थ्य और शिक्षा में सुधार

प्रधानमंत्री ने बताया कि अति पिछड़े जनजातियों के लिए 24000 करोड़ रुपये का आवंटन किया गया है। इसके अलावा, जनजातीय क्षेत्रों में स्वास्थ्य सेवाओं को बेहतर बनाने के लिए कई कदम उठाए गए हैं। उन्होंने कहा कि अब तक छह करोड़ जनजातीय नागरिकों की स्वास्थ्य जांच की जा चुकी है।


जनजातीय संस्कृति का संरक्षण

प्रधानमंत्री ने जनजातीय कला, संस्कृति और प्राचीन भाषाओं के संरक्षण के लिए बिरसा मुंडा आदिजाति यूनिवर्सिटी में जनजातीय भाषा संवर्धन केंद्र की स्थापना की घोषणा की। यह केंद्र विभिन्न जनजातियों की बोलियों का अध्ययन करेगा और उनकी सांस्कृतिक धरोहर को संरक्षित करेगा।


वनबंधु कल्याण योजना का विस्तार

प्रधानमंत्री ने वनबंधु कल्याण योजना के दायरे को बढ़ाने के लिए मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल की सराहना की। उन्होंने कहा कि जनजातीय समुदाय के वीरों को सम्मान देने का कार्य किया जा रहा है। इस अवसर पर कई प्रमुख नेता और अधिकारी भी उपस्थित थे।