भारतीय रुपए की गिरावट: डॉलर के मुकाबले नया निचला स्तर
डॉलर के मुकाबले रुपए की स्थिति
डॉलर के मुकाबले भारतीय रुपए में लगातार गिरावट देखी जा रही है।
भारतीय रुपए की स्थिति डॉलर के सामने काफी कमजोर हो गई है। सोमवार को, यह तीन पैसे की गिरावट के साथ 88.82 के स्तर पर बंद हुआ, जो कि अब तक का सबसे निचला स्तर है। विदेशी बाजार में डॉलर की मजबूती और कच्चे तेल की कीमतों में अचानक वृद्धि ने घरेलू मुद्रा पर दबाव डाला है।
विदेशी मुद्रा व्यापारियों के अनुसार, अमेरिकी डॉलर और भारतीय रुपए ने सीमित दायरे में कारोबार किया। विदेशी पूंजी की निकासी और भू-राजनीतिक घटनाओं के बीच, घरेलू शेयर बाजारों से इसे कुछ समर्थन मिला। अंतरबैंक विदेशी मुद्रा विनिमय बाजार में, रुपया 88.75 पर खुला और कारोबार के अंत में 88.82 प्रति डॉलर पर बंद हुआ, जो पिछले बंद भाव से तीन पैसे की गिरावट दर्शाता है।
क्या रुपए की ताकत और घटेगी?
रुपया शुक्रवार को आठ पैसे की गिरावट के साथ 88.79 पर बंद हुआ था। इससे पहले, 30 सितंबर को यह 88.80 के सर्वकालिक निचले स्तर पर पहुंच गया था। मिराए एसेट शेयरखान के मुद्रा एवं जिंस के शोध विश्लेषक अनुज चौधरी का मानना है कि घरेलू बाजारों में मजबूती और अमेरिकी डॉलर की कमजोरी से रुपया सकारात्मक रुख के साथ कारोबार कर सकता है। वैश्विक कच्चे तेल की कीमतों में कमी भी रुपए के लिए फायदेमंद हो सकती है। हालांकि, डॉलर के लिए आयातक मांग में वृद्धि इसे रोक सकती है। डॉलर/रुपये की हाजिर कीमत 88.50 से 89 के बीच रहने की संभावना है।
ग्लोबल सेंटीमेंट्स का प्रभाव
इस बीच, छह प्रमुख मुद्राओं के मुकाबले अमेरिकी डॉलर की स्थिति को दर्शाने वाला डॉलर सूचकांक 0.73 प्रतिशत की वृद्धि के साथ 98.43 पर पहुंच गया। घरेलू शेयर बाजारों में सेंसेक्स 582.95 अंक की बढ़त के साथ 81,790.12 अंक पर और निफ्टी 183.40 अंक की वृद्धि के साथ 25,077.65 अंक पर बंद हुआ। अंतरराष्ट्रीय मानक ब्रेंट क्रूड 1.61 प्रतिशत की वृद्धि के साथ 65.58 डॉलर प्रति बैरल पर रहा। शेयर बाजार के आंकड़ों के अनुसार, विदेशी संस्थागत निवेशक (एफआईआई) ने शुक्रवार को 1,583.37 करोड़ रुपये के शेयर बेचे।