भारत की वृद्ध जनसंख्या: व्यवसाय के लिए सुनहरा अवसर
वृद्ध जनसंख्या का बढ़ता प्रभाव
देश में वरिष्ठ नागरिकों की संख्या तेजी से बढ़ रही है, जो 2050 तक 11 प्रतिशत से बढ़कर 22 प्रतिशत होने की उम्मीद है। यह बदलाव व्यवसाय के लिए एक महत्वपूर्ण अवसर प्रस्तुत करता है, जो इस उम्र के लोगों की बदलती प्राथमिकताओं को ध्यान में रखता है।
तकनीकी दक्षता और वित्तीय सुरक्षा
इस जनसंख्या में तकनीकी दक्षता, उपभोक्तावाद, और वित्तीय सुरक्षा की भावना बढ़ रही है। वरिष्ठ नागरिक, जो 60 वर्ष और उससे अधिक आयु के हैं, एक स्वस्थ जीवनशैली, सक्रियता, और नए अनुभवों की तलाश में हैं।
वित्तीय अवसरों की वृद्धि
सेवानिवृत्ति पर केंद्रित म्यूचुअल फंड में पिछले पांच वर्षों में 226% की वृद्धि हुई है, जो इस समूह की वित्तीय क्षमता को दर्शाता है।
व्यवसाय के लिए आकर्षक अवसर
वरिष्ठ देखभाल उद्योग में विकास की संभावनाएं हैं, जो 2030 तक लगभग 50 अरब डॉलर तक पहुंचने की उम्मीद है। एक हालिया सर्वेक्षण के अनुसार, इस क्षेत्र में 85-90% उद्योग नेता भारत में अगले 15 वर्षों में वृद्धि के प्रति आशावादी हैं।
आपूर्ति में वृद्धि
बढ़ती मांग के जवाब में, आपूर्ति में भी महत्वपूर्ण वृद्धि की उम्मीद है। वर्तमान में संगठित आपूर्ति ढांचा लगभग 3-4 मिलियन वरिष्ठ नागरिकों की सेवा करता है, और अगले पांच वर्षों में इसकी क्षमता तीन गुना बढ़ने की संभावना है।
निवेश और नवाचार
जैसे-जैसे वरिष्ठ जनसंख्या बढ़ती है, घरेलू और अंतरराष्ट्रीय निवेशक नवाचार को बढ़ावा दे रहे हैं। इस क्षेत्र में विभिन्न प्रकार के सेवा प्रदाता और सुविधाएं देखने को मिलेंगी।
नियमों का समर्थन
भारत में वरिष्ठ देखभाल के विकास के लिए एक सुव्यवस्थित और प्रगतिशील नियामक ढांचा आवश्यक है। इसमें एकल खिड़की मंजूरी, पंजीकरण में स्पष्टता, और सुरक्षा व सेवा गुणवत्ता में वैश्विक सर्वोत्तम प्रथाओं के लिए प्रोत्साहन शामिल होना चाहिए।
नेताओं की राय
ASLI के अध्यक्ष राजित मेहता ने कहा कि भारत की वृद्ध जनसंख्या के पास पहले से अधिक धन है और वे इसे अपने सुनहरे वर्षों में निवेश कर रहे हैं।