बीजेपी का 'जीएसटी बचत महोत्सव' अभियान 22 से 29 सितंबर तक
बीजेपी का नया अभियान
भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) 22 से 29 सितंबर तक 'जीएसटी बचत महोत्सव' नामक एक राष्ट्रीय अभियान शुरू करने जा रही है। इस विशेष पहल के तहत, प्रत्येक बीजेपी सांसद को अपने निर्वाचन क्षेत्र के बाजारों में पद यात्रा या पैदल मार्च आयोजित करने का निर्देश दिया गया है।
व्यापारियों से सीधा संपर्क
इस कार्यक्रम के माध्यम से पार्टी का उद्देश्य व्यापारियों, दुकानदारों और आम जनता के साथ सीधे जुड़ना है, ताकि वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) के लाभों के बारे में जागरूकता फैल सके और यह बताया जा सके कि यह अर्थव्यवस्था में बचत और पारदर्शिता में कैसे योगदान देता है। इस सप्ताह भर चलने वाले अभियान में विभिन्न राज्यों में पार्टी कार्यकर्ताओं और नेताओं की बड़ी संख्या में भागीदारी की उम्मीद है।
स्थानीय बाजारों में पद यात्रा
स्थानीय बाजारों में पद यात्राओं का आयोजन करके, बीजेपी अपने grassroots outreach को मजबूत करने और छोटे व्यवसायियों के साथ संवाद स्थापित करने की योजना बना रही है, जिससे व्यापार और वाणिज्य का समर्थन करने वाली सरकारी नीतियों को उजागर किया जा सके। यह पहल त्योहारों के मौसम से पहले की जा रही है, जो जनता के साथ जुड़ाव और आर्थिक संदेश को प्राथमिकता देने पर जोर देती है।
जीएसटी दरों में बदलाव
इस महीने की शुरुआत में, 56वीं जीएसटी परिषद की बैठक में जीएसटी दरों को दो स्लैब में समेकित करने का निर्णय लिया गया, जिसमें 5 प्रतिशत और 18 प्रतिशत शामिल हैं। 5 प्रतिशत स्लैब में आवश्यक वस्तुएं और सेवाएं शामिल हैं, जैसे कि खाद्य सामग्री, कृषि उपकरण, हस्तशिल्प और स्वास्थ्य सेवाएं।
वहीं, 18 प्रतिशत स्लैब में अधिकांश वस्तुओं और सेवाओं के लिए मानक दर शामिल है, जिसमें छोटे वाहन, उपभोक्ता इलेक्ट्रॉनिक्स और कुछ पेशेवर सेवाएं शामिल हैं। इसके अलावा, विलासिता और पाप की वस्तुओं के लिए 40 प्रतिशत स्लैब भी है।
जीएसटी से छूट
कुछ आवश्यक सेवाएं और शैक्षिक सामग्री जीएसटी से पूरी तरह छूट प्राप्त हैं, जैसे व्यक्तिगत स्वास्थ्य, जीवन बीमा और शिक्षा से संबंधित सेवाएं।